इन दस तस्वीरों में जाने संजू के ट्रेलर को
वैसे तो जब किसी की ज़िन्दगी पर फिल्म बनती है तो कोशिश ये रहती है कि उनके जीवन के संघर्ष, असफलता से होते हुए उनके कामयाब बनने तक की जर्नी को दिखाया जाए. लेकिन जब फिल्म संजय दत्त के जीवन पर बन रही हो तो सिर्फ इतने से काम नहीं चलेगा. क्योंकि संजू बाबा ने एक ही ज़िन्दगी में कई किरदार को जिया है. फिल्म में ही नहीं, रियल लाइफ में भी. संजय दत्त अपनी ज़िन्दगी राजकुमार की तरह भी जिए है और क्रिमिनल या फिर आतंकवादी की तरह भी. कई रंग उनके जीवन से हो के गुजरी है. अब जब टीजर के बाद ट्रेलर आया है तो काफी कुछ साफ़ सा हो गया है. आइए नज़र डालते है ट्रेलर के कुछ खास बातों पर, कुछ ख़ास तस्वीरों के माध्यम से.
1.
क्योंकि हिंदुस्तान के अंदर संजू के पापा सुनील दत्त साहब का बहुत बड़ा नाम था. सो, संजय का बचपन राजकुमारों जैसा बीता. बड़े होने तक वही कहानी जारी रही. आउटिंग, फ्रेंड्स, पार्टी. . .
2.
जब जवानी में दोस्त साथ हो और किसी भी तरह की मुफलिसी ना हो तो कुछ बुरी आदतें इंसान के अंदर पैदा हो ही जाती है. इसी तरह संजू ने पहले पिता जी से नाराज़ होकर ड्रग लिया, फिर दूसरी बार मम्मी के बीमार होने पर और जब तीसरी बार लिया तब तक वो इसके आदी हो चुके थे.
3.
बेटे की बिगड़ती हालत को देखकर परिवार ने उनकी शादी करा दी. जो कि भारतीय कल्चर में रिवाज की तरह है. लेकिन संजू फिर भी नहीं बदले. बीवी से ज्यादा उनके लिए ड्रग ज़रूरी था.
4.
अय्याशी इंसान को क्या से क्या करा देती है. कुछ लोग जिस अय्याशी को अपना शौक समझते है वही अय्याशी किसी दूसरे लोग के लिए मौत बनकर आती है. इसी अय्याशी का परिणाम था 1993 का बम्बई ब्लास्ट. संजू बाबा ना नाम अंडरवर्ल्ड से जुड़ा और उनके दामन पर वो दाग छोड़ गया जो शायद उनके ज़िन्दगी के बाद भी ख़तम नहीं होगा.
5.
बम्बई ब्लास्ट में नाम आने के बाद वो अमेरिका चले गए. लेकिन अपना वतन तो अपना होता है. एयरपोर्ट छोड़िये, बम्बई पुलिस उनका इंतज़ार रनवे पर ही कर रही थी.
6.
एक कहावत है, पुलिस किसी की नहीं होती. तो फिर संजू कि कैसे हो सकती थी. उनके साथ भी वही सुलूक हुआ जो इस तरह के जुर्म करने वालों के साथ होना चाहिए. बम्बई पुलिस ने निष्पक्ष अपना काम किया.
7.
लेकिन पिता तो पिता होते है. देश के इतने पावरफुल आदमी होने के भी क्या फायदे जब आप अपने परिवार को ही नहीं बचा सकते. मम्मी के जाने के बाद अकेला संजू को बस पापा से ही तो उम्मीद थी. दावा नहीं किया जा सकता है लेकिन कथित तौर पर सुनील दत्त साहब के बेटे होने का फायदा संजू को तब तक होता रहा जब तक दत्त साहब ज़िंदा रहे.
8.
अपना कोई करीबी जब बिछड़ता है तो बहुत दुःख होता है. लेकिन जब माँ हमेशा के लिए बिछड़ जाए तो क्या होगा, ये बताने की ज़रूरत नहीं है. इस घटना के बाद शायद पहली बार संजू को अपने धरातल पर होने का एहसास हुआ.
9.
इन सबके बाद फिल्म निर्देशक राजकुमार हिरानी उनके लिए दूसरी ज़िन्दगी बनकर आये. डेट्स की वजह से जब शाहरुख़ खान फिल्म को मना कर दिए तब मुन्नाभाई MBBS संजू के खाते में गयी और यहाँ से उनके जीवन की नयी पटकथा शुरू हुई.
10.
इन सब के बाद एक पत्रकार उनसे पूछी कि आप पत्नी के अलावा कितने महिलाओं के साथ सो चुके है तो बेबाक और ईमानदार संजू का जवाब था: तवायफ को छोड़कर 308.
इस फिल्म में रणबीर कपूर मुख्य भूमिका निभा रहे है. साथ में परेश रावल, सोनम कपूर, अनुष्का शर्मा, विक्की कौशल, बोमन ईरानी एवं अन्य भी अहम् किरदारों में है. फिल्म 29 जून को सिनेमाघरों में रिलीज हो रही है.
संजू का ट्रेलर यहाँ देखिये: